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यूपी में होगा 240 किलोमीटर लंबी रेल लाइन का निर्माण, खर्च होंगे 4940 करोड रुपए, इन गांवों में होगा जमीन अधिग्रहण

Land will be acquired in 7 villages of UP, land will be taken to lay a new railway line
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new railway line
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उत्तर प्रदेश में एक नई 240 किलोमीटर लंबी रेलवे लाइन (New railway line) का निर्माण होने जा रहा है जो बहराइच से खलीलाबाद तक चलेगी। इस रेलवे लाइन का निर्माण भारतीय रेलवे के बड़े प्रोजेक्ट्स में से एक है। यह लाइन न केवल हजारों यात्रियों के लिए यात्रा को आसान बनाएगी बल्कि यह पॉकेट फ्रेंडली भी होगी जिससे यात्री कम समय में और कम पैसे में अपनी यात्रा पूरी कर सकेंगे। इस परियोजना के लिए जमीन अधिग्रहण का काम तेजी से चल रहा है और इसका मुख्य उद्देश्य है कि आने वाले समय में लोगों को बेहतर और तेज़ रेल सेवाएं मिल सकें।

भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया

इस परियोजना के लिए जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया पहले ही शुरू हो चुकी है। बहराइच से खलीलाबाद तक बनने वाली इस नई रेलवे लाइन के लिए बहराइच के ग्राम हटवा रायब इटौझा रेवली चुरैला अशोका नगरौर एवं अमीनपुर नगरौर में जमीन अधिग्रहण का कार्य चल रहा है। इसके अलावा खलीलाबाद और सिद्धार्थनगर के अन्य जिलों में भी जमीन अधिग्रहण की प्रक्रिया जारी है। जमीन अधिग्रहण के इस काम में ग्राम पंचायत और जिलों की सरकारी जमीन का अधिग्रहण किया जाएगा।

परियोजना की लागत और मंजूरी

यह रेलवे परियोजना सरकार द्वारा साल 2018 में नीति आयोग की मंजूरी के बाद शुरू की गई थी। इस रेल लाइन के निर्माण के लिए 4940 करोड़ रुपए की भारी भरकम लागत आने वाली है। सरकार ने इस परियोजना को लोगों की यात्रा को सुविधाजनक और समय की बचत के दृष्टिकोण से मंजूरी दी है। इस परियोजना से कई जिलों के हजारों लोगों को सीधा फायदा पहुंचेगा खासकर उन इलाकों में जहां पहले रेल सेवाएं नहीं थीं या कम थीं।

भूमि अधिग्रहण के तहत चल रहे काम

इस परियोजना के तहत बहराइच खलीलाबाद और सिद्धार्थ नगर के साथ-साथ अन्य जिलों में भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया तेजी से जारी है। बहराइच के तहसील क्षेत्रों में भूमि अधिग्रहण का काम अब गति पकड़ रहा है। जिला प्रशासन ने रेलवे मंत्रालय से प्राप्त पत्र के बाद सर्वे का कार्य भी शुरू कर दिया है। भूमि अधिग्रहण का काम मुख्य रूप से नौ गांवों में चल रहा है जिसमें हटवा रायब इटौझा रेवली चुरैला अशोका नगरौर एवं अमीनपुर नगरौर प्रमुख हैं।

मुआवजा वितरण की योजना

भूमि अधिग्रहण के बाद प्रभावित लोगों को नियमानुसार मुआवजा दिया जाएगा। मुआवजे के वितरण के लिए भूमि अध्यापति अधिकारी और नगर मजिस्ट्रेट की देखरेख में सर्वे का काम किया जा रहा है। इस रेलवे ट्रैक के लिए जमीन अधिग्रहण 40 मीटर की चौड़ाई के हिसाब से किया जाएगा। प्रभावित किसानों और जमीन मालिकों को नियमानुसार मुआवजा देने की प्रक्रिया भी जल्द ही शुरू की जाएगी।

आने वाले समय में यात्रा होगी अधिक सुलभ

इस नई रेलवे लाइन के बनने के बाद उत्तर प्रदेश के इन जिलों के हजारों लोगों के लिए आवागमन सुलभ हो जाएगा। जहां पहले लोगों को अन्य साधनों से यात्रा करने में समय और धन दोनों का खर्च अधिक होता था वहीं अब यह यात्रा अधिक सुविधाजनक और कम खर्चीली होगी। इसके अलावा रेलवे सेवाओं के विस्तार से इन जिलों में आर्थिक विकास और रोजगार के नए अवसर भी उत्पन्न होंगे।

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