यूपी के लोगों के लिए बड़ी सौगात, इस जगह बसाया जाएगा नया नोएडा शहर, करोड़ों में बिकेगी जमीन
लखनऊ: उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्ध नगर जिले के लोगों को जल्द ही एक बड़ी सौगात मिलने वाली है। राज्य सरकार ने नया नोएडा बसाने के मास्टर प्लान पर तेजी से काम शुरू कर दिया है। इस नई योजना से राज्य के औद्योगिक और आवासीय विकास में एक नई क्रांति आने की संभावना है। इस लेख में हम विस्तार से जानेंगे कि नया नोएडा कैसे और कब बनेगा, इसमें कौन-कौन सी सुविधाएं होंगी और यह क्षेत्र के विकास में कितना महत्वपूर्ण साबित होगा।
नया नोएडा बसाने का मास्टर प्लान
नए नोएडा को बसाने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार ने 20000 हेक्टेयर जमीन निर्धारित की है। यह जमीन गौतम बुद्ध नगर के दादरी और बुलंदशहर के गांवों में स्थित है। इस योजना के तहत, आने वाले दो-तीन महीनों में इस प्रोजेक्ट को मंजूरी मिलने की उम्मीद है। नोएडा प्राधिकरण ने पहले ही इस योजना की मंजूरी के लिए प्रस्ताव भेजा था, जिसे दिसंबर 2023 में हुई बैठक में स्वीकृति मिल चुकी है।
नए नोएडा को दादरी-नोएडा-गाजियाबाद को जोड़ने वाले विशेष निवेश क्षेत्र (डीएनजीआईआर) के नाम से भी जाना जाएगा। इस क्षेत्र का विकास खासतौर पर औद्योगिक क्षेत्र के लिए किया जाएगा। इसमें 41% भूमि औद्योगिक संपत्तियों के लिए आरक्षित की गई है। इसके अलावा, 11.5% आवासीय क्षेत्र, 17% हरियाली और रिएक्शनल, 15.5% सड़क, 9% संस्थागत और 4.5% वाणिज्यिक संपत्तियों के लिए निर्धारित किए गए हैं।
नया नोएडा न केवल एक औद्योगिक नगरी होगी, बल्कि शिक्षा का भी केंद्र बनेगा। इस शहर में उच्च शिक्षा के लिए पर्याप्त संख्या में कॉलेज खोले जाएंगे। यह क्षेत्र विशेष रूप से माइग्रेंट आबादी के लिए आवासीय सुविधाएं भी प्रदान करेगा। अनुमानित है कि इस शहर में लगभग छह लाख लोग निवास करेंगे, जिनमें से 3.5 लाख माइग्रेंट होंगे। इनके लिए एलआईजी, एमआईजी, एचआईजी और ईडब्ल्यूएस यूनिट बनाई जाएंगी।
पांच चरणों में होगा विकास
नए नोएडा को पांच चरणों में विकसित किया जाएगा। योजना का पहला चरण 2024 में शुरू होगा और इसमें 10% जमीन अधिग्रहण किया जाएगा। यह चरण 2028 तक 537.09 हेक्टेयर जमीन पर तैयार होगा। दूसरा चरण 2028 में, तीसरा चरण 2032 में, चौथा चरण 2036 में और पांचवा चरण 2041 से 2047 तक पूरा होगा।
नए नोएडा की कनेक्टिविटी के लिए जेवर एयरपोर्ट को रेलवे से जोड़ने की भी योजना है। साथ ही, पानी की आपूर्ति की व्यवस्था भी की जाएगी। इस क्षेत्र को आधुनिक सुविधाओं से लैस किया जाएगा ताकि यहां निवास करने वाले लोगों को किसी भी तरह की असुविधा न हो।
नोएडा शहर का वर्तमान विकास
वर्तमान में नोएडा शहर का 95% से अधिक हिस्सा विकसित हो चुका है। नोएडा-ग्रेटर नोएडा एक्सप्रेसवे के आसपास कुछ नए क्षेत्र विकसित किए जाएंगे। लेकिन शहर को और अधिक विस्तार देने के लिए अब जमीन की कमी है। सीएजी की ऑडिट रिपोर्ट के अनुसार, नोएडा में 45 लाख 26 हजार 464 वर्ग मीटर जमीन पर अतिक्रमण की समस्या है। इसी को ध्यान में रखते हुए औद्योगिक क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए नया नोएडा बनाने का फैसला लिया गया है।